प्रधानमंत्री मोदी ने राष्ट्रपति से की मुलाकात, सरकार बनाने का दावा पेश किया
कांग्रेस कार्यसमिति (CWC) की बैठक खत्म हो गई है. इस बैठक में यूपीए अध्यक्ष सोनिया गांधी, पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह, कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी, कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी समेत कई नेता मौजूद थे.
ABP News Bureau
Last Updated:
25 May 2019 10:09 PM
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा, ''हम नहीं चाहते कि एक पल भी विराम का जाए, चरैवेति, चरैवेति, चरैवेति के मंत्र को लेकर चलते रहें...आगे बढ़ते रहें. ध्येय प्राप्त करते रहें. इस मिजाज के साथ नई सरकार भी काम करे, इस संकल्प को मैं फिर एक बार आपके सामाने दोहराता हूं. सबका साथ, सबका विकास और सबका विश्वास एक ऐसा मंत्र है जो भारत के हर क्षेत्र के विकास के लिए रास्ता दिखाता है. सबकी सुरक्षा और राष्ट्र की संबृद्धि की प्रतिबद्धता के साथ हमको आगे बढ़ना है. मैं फिर एक बार विश्वास दिलाता हूं कि मैं और मेरी सरकार आपके सपनों को साकार करने के लिए, आपकी आशा-अपेक्षाओं को पूरा करने के लिए कोई कसर नहीं छोड़ेगी.''
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा, ''स्वाभाविक है कि देश ने एक प्रचंड जनमत दिया है और इस जनमत के साथ जनअपेक्षाएं भी जुड़ी हुई हैं. नए भारत के निर्माण के लिए और विशेषकर 2022 जब आजादी के 75 वर्ष पूरे हो रहे हैं, यह अवसर अपने आप में 130 करोड़ देशवासियों का अवसर बने. आजादी के आंदोलन में जैसे हर देशवासी कोई ना कोई संकल्प करता था वैसा हर देशवासी देश के लिए समाज के लिए भविष्य के लिए कुछ करने का संकल्प करे. ऐसा अवसर 2022 में हमारे सामने है. यह वर्ष महात्मा गांधी की 150वीं जयंती का भी है और गुगुनानक देव जी के 550वें प्रकाशपर्व का भी है. अनेक प्रकार से यह बहुत ही सुभग अवसर का काल है. विश्व की जो स्थिति है उस हिसाब से भी भारत के लिए अनेक संभावनाओं को लेकर समय आया है. इन अवसरों को हम गंवा ना दें, इन अवसरों का अधिक फायदा लेने के लिए भारत को सज्ज करें. देश की आवश्यकताओं की पूर्ति का जो वातावरण है उसमें हम बल प्रदान करें. उन बातों को लेकर आने वाले दिनों में सरकार अपना काम तेज गति से आगे बढ़ाएगी.''
राष्ट्रपति से मुलाकात के बाद प्रधानमंत्री ने मीडिया से कहा, ''आज एनडीए की मीटिंग हुई थी, आप सभी जानते हैं कि एनडीए के सभी सांसदों और सभी राजनैतिक दलों ने समर्वसम्मति से नेता चुनकरके मुझे बड़ी जिम्मेदारी दी है. मैं एनडीए के सभी साथियों को धन्यवाद देता हूं. एनडीए के सभी साथियों ने राष्ट्रपति जी को इस बात की जानकारी दी है. मैंने भी राष्ट्रपति जी से उनके चेंबर में मुलाकात की है. राष्ट्रपति जी ने मुझे पदनामित प्रधानमंत्री पद का प्रमाणपत्र दिया है. मैं बहुत जल्द राष्ट्रपति जी की पास मंत्रिमंडल गठन से जुड़ी जानकारी पहुंचाऊंगा.''
राष्ट्रपति से मुलाकात के बाद प्रधानमंत्री ने मीडिया से कहा, ''आज एनडीए की मीटिंग हुई थी, आप सभी जानते हैं कि एनडीए के सभी सांसदों और सभी राजनैतिक दलों ने समर्वसम्मति से नेता चुनकरके मुझे बड़ी जिम्मेदारी दी है. मैं एनडीए के सभी साथियों को धन्यवाद देता हूं. एनडीए के सभी साथियों ने राष्ट्रपति जी को इस बात की जानकारी दी है. मैंने भी राष्ट्रपति जी से उनके चेंबर में मुलाकात की है. राष्ट्रपति जी ने मुझे पदनामित प्रधानमंत्री पद का प्रमाणपत्र दिया है. मैं बहुत जल्द राष्ट्रपति जी की पास मंत्रिमंडल गठन से जुड़ी जानकारी पहुंचाऊंगा.''
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने राष्ट्रपति भवन पहुंच कर राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद से मुलाकात की. पीएम मोदी ने राष्ट्रपति के पास सरकार बनाने का दावा पेश किया. पीएम मोदी और राष्ट्रपति के बीच बेहद गर्मजोशी से मुलाकात की.
एनडीए संसदीय दल के नेता चुने जाने के बाद पीएम नरेंद्र मोदी राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद के पास जा रहे हैं. थोड़ी देर में सरकार बनाने का दावा पेश करेंगे. इस बीच खबर है कि बीजेपी अध्यक्ष अमित शाह ने राष्ट्रपति से मुलाकात की है. अमित शाह के साथ एनडीए और बीजेपी के नेताओं ने राष्ट्रपति से मुलाकात कर संसदीय दल के नेता बनने का पत्र सौंपा. इन नेताओं में प्रकाश सिंह बादल, राजनाथ सिंह, नीतीश कुमार, राम विलास पासवान, सुषमा स्वराज, उद्धव ठाकरे, नितिन गडकरी, के पलानीसामी, कोनराड संगमा और नेफियो रियो मौजूद रहे.
एनडीए संसदीय दल के नेता के तौर पर चुने जाने के बाद पीएम नरेंद्र मोदी ने कहा- 21वीं सदी को एशिया की सदी कहते हैं लेकिन हमें इसे भारत की सदी बनाना है. दुनिया के कई नेताओं से पिछले तीन दिन में बात करने के बाद मैं बता सकता हूं कि दुनिया को भारत से बहुत अपेक्षाएं हैं. विश्व की अपेक्षाओं को पूरा करने के लिए खुद समर्थ बनाना वसुदैव कुटुंबकम का हिस्सा है. लोकतांत्रिक शक्ति के लिए भारत बहुत महत्वपूर्ण है. मुझे विश्वास है कि दुनिया जिन सपनों के साथ हमसे अपेक्षा करती है उसे हम पूरा करेंगे. आप सबने मुझे दायित्व दिया है लेकिन ये कोई कॉन्ट्रेक्ट नहीं है. ये हमारी संयुक्त जिम्मेदारी है अगर कोई चोट पहुंचेगी तो उसके लिए मैं हूं और आपको सफलता का श्रेय लेना है. भारत माता से बड़ी हमारे लिए कोई ईष्ट देवता नहीं हो सकता है.
एनडीए संसदीय दल के नेता के तौर पर चुने जाने के बाद पीएम नरेंद्र मोदी ने कहा- गरीबों की तरह ही देश के अल्लसंख्यकों के साथ भी छल हुआ है. वोटबैंक की राजनीति में एक काल्पनिक भय बना कर रखा गया और सिर्फ वोट बैंक की राजनिति के लिए इस्तेमाल किया गया है. हमें इस छल में भी छेद करना है, हमें विश्वास जीतना है. 1857 के स्वतंत्रता संग्राम में देश की हर जाति, संप्रदाय के लोगों ने अंग्रोजों से लड़ाई लड़ी. अब गरीबी, स्वराज के लिए सभी को कंधे से कंधा मिलाकर चलना है. ये एक बहुत बड़ा दायित्व है और हमें इसे निभाना है. आज संविधान को साक्षी मानकर हम संकल्प करें कि देश के सभी वर्गों को हम साथ लेकर चलेंगे. कोई भी पंथ या जाति के आधार पर पीछे ना छूटे. इस जिम्मेदारी को भी निभाएंगे. इसीलिए सबका साथ, सबका विश्वास और सबका विश्नवास हमारा मंत्र है.
एनडीए संसदीय दल के नेता के तौर पर चुने जाने के बाद पीएम नरेंद्र मोदी ने कहा- आज मैं फिर से कहना चाहता हूं कि पांच साल पहले जो बात ह्रदय से निकली थी हमने उससे खुद को ओझल नहीं होने दिया. मैं कह सकता हूं कि 2014 से 2019 प्रमुख रूप से हमने गरीबों के लिे सरकार चलाई. 2019 में आज मैं कह सकता हूं कि ये सरकार देश के गरीबों ने बनाई. हमारे देश में गरीब विवाद का हिस्सा रहा, फैशन का हिस्सा रहा. पांच साल के कार्यकाल के बाद हमने कहा कि ये भ्रमजाल और घनघोर बादल थे उसमें हमने छेद किया है. तेज गति से गरीबी मुक्त भारत की दिशा में हम आगे बढ़ रहे हैं. देश को गरीबी के टैग से मुक्त करना है, आजादी के इतने साल बाद कोई घर, बिजली और पानी की अपेक्षा करे तो ये उसका हक बनता है. मुझे ऐसे साथी मिले हैं जिससे हमें ये काम करने में कोई दिक्कत नहीं आएगी.
एनडीए संसदीय दल के नेता के तौर पर चुने जाने के बाद पीएम नरेंद्र मोदी ने कहा- एक चीज और आपसे कहना चाहता हूं कि वीआईपी कल्चर. देश को इस कल्चर से नफरत है. हो सकता है कि आपके अंदर यह भाव आ जाए कि मेरी चेकिंग अब क्यों हो, मैं लाइन में क्यों लगूं. लेकिन आप भी नागरिक हैं लाइन क्यों नहीं लगेंगे. आज कल लोग कैमरे से फोटो निकाल लेते हैं फिर बाद में सोशल मीडिया पर आ जाता है. फिर आप देखते हैं कि किसने किया क्यों किया लेकिन तब तक कुछ नहीं हो सकता. लाल बत्ती हटाने के पीछे कोई बड़ा कारण नहीं था लेकिन इससे देश में बहुत बड़ा संदेश गया था.
एनडीए संसदीय दल के नेता के तौर पर चुने जाने के बाद पीएम नरेंद्र मोदी ने कहा- नए लोगों के साथ एक और दिक्कत होगी कि अभी तक आपको हो सकता है कि कोई ना पहचानता हो. लेकिन अभी आप दिल्ली आएंगे तो हो सकता है कि गाड़ी लिए लोग मिलें, आपकी सेवा करने की कोशिश करें. लेकिन इस सेवा भाव के चक्कर में आपका नुकसान हो सकता है. हो सकता है कि पुराना एमपी आपसे कहे कि यह अच्छा आदमी है मेरा काम करता रहा है आपका भी करेगा. आप इस पर भी भरोसा ना करें, आप अपने क्षेत्र से अपने अनुभव के आधार पर लोगों को चुने.
एनडीए संसदीय दल के नेता के तौर पर चुने जाने के बाद पीएम नरेंद्र मोदी ने कहा- मां के गर्भ में जब बच्चा होता है तो गर्भनाल से उसका जीवन चलता है. सार्वजनिक जीवन में जनप्रतिनिधि और जनता का संबंध उस गर्भनाल से जुड़ा होने की तरह होना चाहिए. मुझे अभी देखना है कि कौन कहां से जीत कर आया है लेकिन इस बीच देश में कई नरेंद्र मोदी हो गए हैं जिन्होंने मंत्रियों के नाम तय कर दिए हैं. इसलिए मैं आपसे कहना चाहता हूं कि ऐसी किसी भी खबर पर अभी विश्वास ना करें. ऐसे लोग सिर्फ अपना स्वार्थ पूरा कर रहे हैं. लेकिन मैं कहना चाहूं कि किसी खबर पर कुछ नहीं होता कुछ नॉर्म्स होते हैं जिन पर जिम्मेदारी मिलती है. आप सभी मेरे अपने हैं लेकिन सभी को जिम्मेदारी नहीं मिल सकती. आपको जब आधिकारिक फोन भी आ जाए तब भी एक बार वेरिफाई जरूर कर लें.
एनडीए संसदीय दल के नेता के तौर पर चुने जाने के बाद पीएम नरेंद्र मोदी ने कहा- 2014 से 19 का कार्यकाल में हम चर्चा में इसलिए नहीं रहे कि कुछ गलत किया. लेकिन अगर किसी ने मसाला दिया तो हमने दिया. लेकिन टीवी के लिए उस डंडे (माइक) में पता नहीं क्या ताकत होती है कि उसे देखते ही कुछ भी बोल देते हैं. कुछ लोगों को मैंने देखा कि सुबह उठकर राष्ट्र के नाम संदेश नहीं देते हैं चैन नहीं पड़ते हैं. मीडिया वालों को भी पता है कि इन लोगों के घर के बाहर जाएंगे तो कुछ ना कुछ मिलेगा. मैं आज न्यूट्रल होकर कहूंगा कि कुछ भी कहने से बचें. आडवाणी जी कहा करते थे दो चीजों से बचना चाहिए छपास और दिखास, इसका मतलब है कि छपने की लत और दिखने की लत. जो साथी हमारे आए हैं उनसे आग्रह है कि इन चीजों से बचें क्योंकि अब देश माफ नहीं करेगा. हमारे पास जिम्मेदारियां हैं, कुछ लोग आपके पास ऑफ द रिकॉर्ड करने आते हैं लेकिन एक चीज चाहिए कि दुनिया में कोई भी चीज ऑफ द रिकॉर्ड नहीं होती है. कभी कभार हमारे मन में ये आ जाता है कि हो जाता लेकिन हम याद रखें कि हमारे बराबर के कई उम्मीदवार थे. हमें याद रखना चाहिए कि चार पीढ़ियों के पुरुषार्थ से आज हम यहां पहुंचे हैं. थोड़ा सा भी अहंकार काम खराब कर सकता है.
एनडीए संसदीय दल के नेता के तौर पर चुने जाने के बाद पीएम नरेंद्र मोदी ने कहा- 2014 से 19 का कार्यकाल में हम चर्चा में इसलिए नहीं रहे कि कुछ गलत किया. लेकिन अगर किसी ने मसाला दिया तो हमने दिया. लेकिन टीवी के लिए उस डंडे (माइक) में पता नहीं क्या ताकत होती है कि उसे देखते ही कुछ भी बोल देते हैं. कुछ लोगों को मैंने देखा कि सुबह उठकर राष्ट्र के नाम संदेश नहीं देते हैं चैन नहीं पड़ते हैं. मीडिया वालों को भी पता है कि इन लोगों के घर के बाहर जाएंगे तो कुछ ना कुछ मिलेगा. मैं आज न्यूट्रल होकर कहूंगा कि कुछ भी कहने से बचें. आडवाणी जी कहा करते थे दो चीजों से बचना चाहिए छपास और दिखास, इसका मतलब है कि छपने की लत और दिखने की लत. जो साथी हमारे आए हैं उनसे आग्रह है कि इन चीजों से बचें क्योंकि अब देश माफ नहीं करेगा. हमारे पास जिम्मेदारियां हैं, कुछ लोग आपके पास ऑफ द रिकॉर्ड करने आते हैं लेकिन एक चीज चाहिए कि दुनिया में कोई भी चीज ऑफ द रिकॉर्ड नहीं होती है. कभी कभार हमारे मन में ये आ जाता है कि हो जाता लेकिन हम याद रखें कि हमारे बराबर के कई उम्मीदवार थे. हमें याद रखना चाहिए कि चार पीढ़ियों के पुरुषार्थ से आज हम यहां पहुंचे हैं. थोड़ा सा भी अहंकार काम खराब कर सकता है.
एनडीए संसदीय दल के नेता के तौर पर चुने जाने के बाद पीएम नरेंद्र मोदी ने कहा- 2014 में मुझसे किसी से ने पूछा था कि आप किसे अपना चैलेंजर मानते हैं तो मैंने कहा था कि मोदी ही मोदी का चैलेंजर है. हमने 2014 के अपने चैलेंज को पूरा किया है. 2014 में महिला सांसद सबसे ज्यादा थीं लेकिन हमने इस भी तोड़ दिया. इस बार सबसे ज्यादा महिलाओं लोकसभा में बैठेंगी. अटल जी ने गठबंधन की राजनीति को आगे बढ़ाया आज उनकी तस्वीर हमें आशीर्वाद दे रही है. हम सबने देखा है कि एनडीए की विशेषता है विश्वास हमने इसे आगे बढ़ाया है. दो चीजों एनडीए के पास महत्वूर्ण हैं जो हमारी अमानत हैं, एनडीए के पास पहली चीज है एनर्जी और दूसरी चीज है सिनर्जी. इन दोनों के केमिकल को हम आगे लेकर चले हैं. भारत के भविष्य के लिए इसे साथ में लेकर चलना जरूरी है. इसे हमें आगे बढ़ाना और इसमें सफलता मिलेगी इसकी मुझे विश्वास है.
एनडीए संसदीय दल के नेता के तौर पर चुने जाने के बाद पीएम नरेंद्र मोदी ने कहा- 2014 के मुकाबले 2019 में बीजेपी को वोट मिले हैं उसमें 25% की वृद्धि हुई है, लेकिन अगर इसे वैश्विक नजरिए से देखें को राष्ट्रपति ओबामा को वोट मिले थे उतना हमारा वोट बढ़ा है. मैं जब चुनाव में जाता था तो कहता था कि यह चुनाव नातो मैं लड़ रहा हूं, ना मेरे उम्मीदवार लड़ रहे हैं और ना पार्टी लड़ रही है. मैं कहता था कि यह चुनाव देश की जनता लड़ा रही है मैं तो सिर्फ इनका धन्यवाद करने के लिए निकला हूं. मैंने इतने चुनाव देखे और उनमें सबकुछ देखा लेकिन 2019 का चुनाव मेरे लिए तीर्थयात्रा थी. जब हम कहते हैं कि जनता ईश्वर का रूप होता है तो मैंने इसे अनुभव किया है और इसीलिए सारा चुनाव प्रचार मेरे लिए तीर्थयात्रा की तरह था. आजादी के बाद पहली बार इतने बड़े प्रतिशत में वोटिंग हुई है, विदेश के नेता मुझसे आश्चर्य के साथ पूछते हैं कि कैसे आपका वोटर 40-45 डिग्री में वोट डालने जाता है. इस बार माताओं और बहनों ने कमाल कर दिया. मैं हमेशा कहता हूं कि इस देश की मातृ शक्ति मेरी सुरक्षा कवच है. देश के इतिहास में हमेशा महिलाओं कि वोटिंग पुरुषों से कम होती थी लेकिन इस बार महिलाओं ने बराबरी कर दी और अगली बार यह रिकॉर्ड भी तोड़ देंगी.
एनडीए संसदीय दल के नेता के तौर पर चुने जाने के बाद पीएम नरेंद्र मोदी ने कहा- कभी कभार छोटी मोटी घटनाएं सार्वजनिक जीवन में निराश कर देती हैं. कोई ऐसा निर्णय किय जो जिससे अखबार की हेडिंग बन जाती है, टीवी पर खबर चल जाती है. इसमें मन में एक भाव आता है कि इस बीच में जनता के बीच कैसे जाऊंगा. लेकिन परिश्रम की पराकाष्ठा होतो देश साथ चल पड़ता है. यह देश परिश्रम की पूजा करता है. जनता के विवेक के यही मापदंड होते हैं. जनता ने हमें इतना बड़ा आदेश दिया है, स्वाभाविक है कि सीना थोड़ा चौड़ा हो जाए, माथा ऊंचा हो जाए लेकिन जन प्रतिनिधि को यह सोचने का काम नहीं होता है. जन प्रतिनिधि के लिए कोई भेद रेखा नहीं होती है, जो हमारे साथ थे हम उनके लिए भी हैं और जो भविष्य में हमारे साथ चलेंगे उनके लिए भी हैं. जिनका विश्वास साथ मिला है उनके लिए भी हैं और जिनका विश्वास जीतना है हम उनके लिए भी हैं. इसीलिए सबका साथ-सबका विकास आज पूरे विश्व का नारा बना है. विश्व के नेता मुझसे इसका अनुवाद पूछते हैं. हमारे लिए अब कोई पराया नहीं हो सकता है.
एनडीए संसदीय दल के नेता के तौर पर चुने जाने के बाद पीएम नरेंद्र मोदी ने कहा- कभी कभार छोटी मोटी घटनाएं सार्वजनिक जीवन में निराश कर देती हैं. कोई ऐसा निर्णय किय जो जिससे अखबार की हेडिंग बन जाती है, टीवी पर खबर चल जाती है. इसमें मन में एक भाव आता है कि इस बीच में जनता के बीच कैसे जाऊंगा. लेकिन परिश्रम की पराकाष्ठा होतो देश साथ चल पड़ता है. यह देश परिश्रम की पूजा करता है. जनता के विवेक के यही मापदंड होते हैं. जनता ने हमें इतना बड़ा आदेश दिया है, स्वाभाविक है कि सीना थोड़ा चौड़ा हो जाए, माथा ऊंचा हो जाए लेकिन जन प्रतिनिधि को यह सोचने का काम नहीं होता है. जन प्रतिनिधि के लिए कोई भेद रेखा नहीं होती है, जो हमारे साथ थे हम उनके लिए भी हैं और जो भविष्य में हमारे साथ चलेंगे उनके लिए भी हैं. जिनका विश्वास साथ मिला है उनके लिए भी हैं और जिनका विश्वास जीतना है हम उनके लिए भी हैं. इसीलिए सबका साथ-सबका विकास आज पूरे विश्व का नारा बना है. विश्व के नेता मुझसे इसका अनुवाद पूछते हैं. हमारे लिए अब कोई पराया नहीं हो सकता है.
एनडीए संसदीय दल के नेता के तौर पर चुने जाने के बाद पीएम नरेंद्र मोदी ने कहा- चुनाव बांट देता है, दीवार पैदा करता है लेकिन 2019 के चुनाव दीवारों को तोड़ने और दिलों को जोड़ने का काम किया है. 2019 का चुनाव सामाजिक एकता का प्रतीक बन गया. देश की जनता ने एक नए युग का आरंभ किया है और हम इसके साक्षी हैं. हम रचयिता हैं इसका दावा नहीं कर सकते, हम इसके साक्षी हैं. लंबे अरसे के बाद आम तौर पर हमारे देश में मूड बना कि चुनाव आया है तो वोट दो इसके बदले काम करो नहीं हुआ तो आगे जाओ. लेकिन इस बार देश भागीदार बना है, इस बार देश ने सिर्फ 2014 में हमें बिठाया नहीं बल्कि 2014 से 2019 तक हमें चलाया भी है. देश भी हमारे साथ चला है उसने भी जिम्मेदारियां उठाई हैं. देश को हमने जितना आगे बढ़ाने का काम किया उससे ज्यादा काम सवा सौ करोड़ देशवासियों ने किया है. इसीलिए ये चुनाव प्रो इनकमवेंसी था, हर बार चुनाव में एंटी इनकमवेंसी होती है लेकिन जब विश्वास की डोर मजबूत होती है तब प्रो इनकमवेंसी वोट पैदा होता है.
एनडीए संसदीय दल के नेता के तौर पर चुने जाने के बाद पीएम नरेंद्र मोदी ने कहा- आज एनडीए के भी सभी साथियों ने आशीर्वाद दिया है और आप सब ने मुझे नेता के रूप में चुना है, मैं इसे व्यवस्था का एक हिस्सा मानता हूं. मैं भी आप में से ही एक हूं, आपके बराबर हूं. हमें कंधे से कंधे मिलाकर चलना है, यही एनडीए की ताकत और विशेषता है. लेकिन अगर गलती हो जाए तो एक सिर ऐसा चाहिए कि चोट को झेल ले, इसी लिए आज आपने आज मुझे ये जिम्मेदारी दी है. मैं इसके लिए खुद को सज्ज करूंगा.
एनडीए संसदीय दल के नेता के तौर पर चुने जाने के बाद पीएम नरेंद्र मोदी ने कहा- ना सिर्फ भरत में बल्कि पूरे विश्व में फैले हुए भारतीयों ने जिस उमंग के साथ इस विजय उत्सव में हिस्सा लिया है, ये हम सब के लिए गर्व का अवसर है. इस उत्सव को मनाने वाले सभी लोगों के अभिनंदन करता हूं. प्रचंड जनादेश जिम्मेदारियों को भी बढ़ा देता है और जिम्मेदारियों को स्वीकार करने के लिए हम निकले हैं. इसके नई ऊर्जा और उमंग के साथ आगे बढ़ना है. लेकिन भारत के लोकतंत्र को हमें समझना होगा, भारत का लोकतंत्र, मतदाता और नागरिक का जो नीरक्षीर विवेक हैं, उसे किसी मापदंड से मापा नहीं जा सकता है. आज हम कह सकते हैं कि सत्ता, सत्ता का रुतबा भारत के मतदाता को सभी प्रभावित नहीं करता है. बड़े से बड़े सत्ता भाव को भी सर झुकाकर स्वीकार करत है. चाहे हम बीजेपी के सांसद के तौर पर चुन कर आए हों या एनडीए के तौर पर, जनता ने हमें सेवा भाव की वजह से स्वीकार करेंगे. जैसे जैसे सत्ता भाव सिमटता जाएगा सेवा भाव बढ़ता जाएगा.
एनडीए संसदीय दल के नेता के तौर पर चुने जाने के बाद पीएम नरेंद्र मोदी ने कहा- सेंट्रल हॉल की यह घटना यह असामान्य घटना है, हम आज नए भारत के हमारे संकल्प को एक नी ऊर्जा के साथ आगे बढ़ाने के लिए यहां से एक नई यात्रा को शुरू करने वाले हैं. देश की राजनीति में जो बदलाव आया है, आप सबभी ने इसका नेतृत्व किया है और आप इसके साक्षी भी हैं. जो पहली बार चुनकर आए हैं वे विशेष अभिनंदन के अधिकारी हैं, इसके लिए उन्हें अनेक अनेक शुभकामनाएं देता हूं. पूरे विश्व का ध्यान भारत के इस चुनाव पर था, ये विश्व के लिए बहुत बड़ा अजूबा है. इस काम को चुनाव आयोग ने, राज्यों के चुनाव आयोग, सभी छोटे मोटे अधिकारी सुरक्षाबल के कठोर परिश्रम का काल खंड होता है. मैं उन सभी का भी बहुत बगुत धन्यवाद करता हूं.
पीएम मोदी के संसदीय दल के नेता चुने जाने के बाद अमित शाह ने कहा- जिस प्रकार से मोदी जी ने पांच साल शासन चलाया उसको देश की जनता ने स्वीकारा है. वो बताता है कि देश की जनता ने नरेन्द्र मोदी एक्सपेरिमेंट को मन से फिर एक बार स्वीकारा है. जनता के मन में एक टीस थी कि आतंकवाद पर ठोस कार्रवाई नहीं होती. मोदी जी के आने के बाद जनता को विश्वास हुआ कि अब एक नेता ऐसा आया है जो आतंकवादियों के घर में घुसकर कार्रवाई कर सकता है. 60 के दशक के बाद इस देश के लोकतंत्र को परिवारवाद, जातिवाद और तुष्टीकरण इन तीन नासूरों ने डसा हुआ था. हर जनादेश कहीं न कहीं परिवारवाद, जातिवाद और तुष्टीकरण की राजनीति से ग्रसित था. 2019 के जनादेश ने परिवारवाद, जातिवाद और तुष्टीकरण को राजनीति से बाहर निकाल दिया है.
पीएम मोदी के संसदीय दल के नेता चुने जाने के बाद अमित शाह ने कहा- नए कार्यकाल के लिए पीएम मोदी को ढेर सारी शुभकामनाएं देता हूं. ये प्रचंड जनादेश जो हमें मिला है वो ऐतिहासिक जनादेश है. भाजपा के 303 सांसद चुनकर आना और एनडीए के 353 सांसद चुनकर आना जनता का अपार समर्थन है. चुनाव अभियान के समय कई सवाल उठाए जाते थे, लेकिन हमारे सभी साथियों को विश्वास था कि हम 50 प्रतिशत की लड़ाई लड़ेंगे और एनडीए को मोदी जी के नेतृत्व में पूर्ण बहुमत प्राप्त होगा.
पीएम मोदी के संसदीय दल के नेता चुने जाने के बाद अमित शाह ने कहा- नए कार्यकाल के लिए पीएम मोदी को ढेर सारी शुभकामनाएं देता हूं. ये प्रचंड जनादेश जो हमें मिला है वो ऐतिहासिक जनादेश है. भाजपा के 303 सांसद चुनकर आना और एनडीए के 353 सांसद चुनकर आना जनता का अपार समर्थन है. चुनाव अभियान के समय कई सवाल उठाए जाते थे, लेकिन हमारे सभी साथियों को विश्वास था कि हम 50 प्रतिशत की लड़ाई लड़ेंगे और एनडीए को मोदी जी के नेतृत्व में पूर्ण बहुमत प्राप्त होगा.
बीजेपी संसदीय दल के नेता चुने जाने के बाद बीजेपी के सहयोगी दलों ने भी पीएम मोदी को एनडीए संसदीय दल का नेता चुना. इसके लिए अकाली दल के अध्यक्ष प्रकाश सिंह बादल ने प्रस्ताव रखा जिसका जेडीयू अध्यक्ष नीतीश कुमार, शिवसेना प्रमुख उद्धव ठाकरे, एलजेपी अध्यक्ष राम विलास पासवान, तमिलनाडु के सीएम पलानीसामी, नगालैंड के सीएम नेफ्यू रियो, मेघालय के सीएम कोनराड सांगमा ने प्रस्ताव का समर्थन किया. इसके अलावा एनडीए के बाकी सदस्यों ने पत्र के जरिए प्रस्ताव का समर्थन किया. इसके बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को एनडीए संसदीय दल का नेता चुना गया, सभी सांसदों ने खड़े पीएम मोदी को अपना नेता माना. अमित शाह ने पीएम मोदी को एनडीए का नेता चुने जाने का औपचारिक एलान किया. अमित शाह ने एलान किया कि आज 353 सांसदों ने सर्वसम्मति से नरेंद्र मोदी जी को अपना नेता चुना है.
बीजेपी अध्यक्ष अमित शाह ने बीजेपी संसदीय दल के नेता के लिए पीएम मोदी के नाम का प्रस्ताव रखा, राजनाथ सिंह, नितिन गडकरी ने प्रस्ताव का समर्थन किया. सभी सांसदों ने प्रस्ताव का स्वागत किया. इसके बाद सर्वसम्मति से पीएम मोदी को बीजेपी संसदीय दल का नेता चुना गया. अमित शाह ने इसका औपचारिक एलान किया.
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी संसद भवन के सेंट्रल हॉल पहुंच गए हैं. बीजेपी अध्यक्ष अमित शाह और राजनाथ सिंह ने उनका स्वागत किया. इसके बाद प्रदानमंत्री जब सेंट्रल हॉल के अंदर पहुंचे तब सांसदों ने भारत माता की जय और वंदे मातरम का नारों के साथ उनका स्वागत किया.
प्रधानमंत्री नरेंद्र संसद के सेंट्रल हॉल में थोड़ी देर में नए सांसदों से मिलेंगे. एनडीए के सभी सांसद संसद भवन पहुंचने लगे हैं. बता दें कि नरेंद्र मोदी पहले बीजेपी सांसदों की बैठक में नेता चुने जाएंगे, इसके बाद एनडीए की बैठक होगी. एनडीए के नेता चुने जाने के बाद पीएम मोदी रात 8 बजे राष्ट्रपति से मिलकर सरकार बनाने का दावा पेश करेंगे.
रणदीप सुरजेवाला ने कहा- कांग्रेस कार्यसमिति ने कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी को देश के युवाओं, किसानों, महिलाओं, अनुसूचित जाति/जनजाति/पिछड़ों, गरीबों, शोषितों व वंचितों की समस्याओं के लिए आगे बढ़कर जूझने का आग्रह किया. कांग्रेस कार्यसमिति उन चुनौतियों, विफलताओं और कमियों को स्वीकार करती है, जिनकी वजह से ऐसा जनादेश आया.
कांग्रेस वर्किंग कमेटी की बैठक के बाद पार्टी की ओर से आधिकारिक बयान आया है. पार्टी की ओर से राहुल गांधी के इस्तीफे को लेकर बयान दिया गया है. कांग्रेस प्रवक्ता रणदीप सुरजेवाला ने कहा- कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी ने कांग्रेस कार्यसमिति के सम्मुख अध्यक्ष पद से अपने इस्तीफे की पेशकश की, मगर कार्यसमिति के सदस्यों ने सर्वसम्मति व एक स्वर से इसे खारिज करते हुए कांग्रेस अध्यक्ष को आह्वान किया कि प्रतिकूल व चुनौतीपूर्ण परिस्थितियों में पार्टी को श्री राहुल गांधी के नेतृत्व व मार्गदर्शन की आवश्यकता है.
कांग्रेस वर्किंग कमेटी की बैठक से बड़ी खबर सामने आई है, जानकारी के मुताबिक राहुल गांधी ने इस्तीफे की पेशकश करने के बाद कहा कि लोकसभा में पार्टी का नेता बनने को तैयार हूं लेकिन अध्यक्ष नहीं रहूंगा. राहुल गांधी ने कहा भी कहा कि मेरी जगह प्रियंका का नाम भी मत लेना, गांधी परिवार से बाहर का अध्यक्ष बनाइए.
वर्किंग कमेटी की बैठक में मीडिया पर भी इल्जाम लगाए गए. कांग्रेस नेताओं ने कहा मीडिया ने वही दिखाया जैसा सरकार ने कहा, चुनाव में चुनाव ने सरकार के मीडिया की तरह काम किया. इसके साथ ही सभी नेताओं ने चुनाव में राहुल गांधी की आक्रमकता की तारीफ की और कहा कमी बाकियों में रह गई.
सूत्रों के हवाले से खबर है कि वर्किंग कमेटी की बैठक में पार्टी के प्रदर्शन पर चर्चा के दौरान वरिष्ठ नेता पी चिंदबरम भावुक हो गए. चिदंबरम ने रोते हुए कहा कि दक्षिण के राज्यों में कार्यकर्ता आत्महत्या कर लेंगे. प्रियंका ने गांधी कहा कि चुनावों में मुद्दों पर बात नहीं हुई, सरकार बुनियादी मुद्दों को दबाने में कामयाब रही.
सूत्रों के मुताबिक राहुल गांधी ने वर्किंग कमेटी की बैठक में कहा कि अध्यक्ष के तौर पर काम नहीं करना चाहता, पार्टी के लिए काम करता रहूंगा, विचारधारा की लड़ाई लड़ना चाहता हूं. इसके साथ ही राहुल गांधी ने पार्टी को चार विकल्प दिए हैं. सूत्रों के हवाले से यह भी खबर है कि राहुल गांधी के इस्तीफे की पेशकश के बाद प्रियंका गांधी ने कहा कि ऐसा निर्णय बीजेपी के जाल में फंसने जैसा होगा, आप जल्दबाजी में फैसला ना लें. बैठक में सबने खड़े होकर राहुल के अध्यक्ष पद से हटने की बात का विरोध किया, हलांकि राहुल राजी नहीं हुए. सोनिया ने मनाने को कहा गया तो वो बोलीं मैं कुछ नहीं कहूंगी, ये राहुल का फैसला है.
करीब चार घंटे तक चली कांग्रेस कार्यसमिति (सीडब्ल्यूसी) की बैठक खत्म हो गई है. सोनिया गांधी, राहुल गांधी और प्रियंका गांधी बैठक से बाहर निकले. सूत्र का दावा, पार्टी पुनर्गठन करने के लिए राहुल गांधी अधिकृत किए गए.
आज रात 8 बजे सरकार बनाने का दावा पेश करेंगे पीएम नरेंद्र मोदी. राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद से करेंगे मुलाकात.
कांग्रेस कार्यसमिति (सीडब्ल्यूसी) की बैठक में कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी बोल रहे हैं. सूत्रों का कहना है कि सीडब्ल्यूसी की बैठक के बाद हार के कारणों और आगे के कदमों को लेकर प्रस्ताव पारित किया जा सकता है.
राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने शनिवार को 16वीं लोकसभा भंग करने की कैबिनेट की सिफारिश को मंजूरी दे दी शुक्रवार को कैबिनेट ने 16वीं लोकसभा भंग करने की सिफारिश की थी और राष्ट्रपति से इसे तत्काल प्रभाव से भंग करने का आग्रह किया था.
कांग्रेस की सर्वोच्च नीति निर्धारण इकाई ‘कांग्रेस कार्य समिति’ (सीडब्ल्यूसी) की बैठक में लोकसभा चुनाव में करारी हार के कारणों पर मंथन जारी है. सूत्रों का कहना है कि इस बैठक के बाद हार के कारणों और आगे के कदमों को लेकर प्रस्ताव पारित किया जा सकता है.
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के शपथ ग्रहण समारोह में विदेशी मेहमानों को बुलाए जाने पर विदेश मंत्रालय के सूत्र ने कहा- किसी विदेशी नेता को बुलाने पर अभी फैसला नहीं हुआ है. शपथ ग्रहण 30 मई को होगा.
वाईएस जगनमोहन रेड्डी शनिवार को आम सहमति से वाईएसआर कांग्रेस विधायक दल के नेता चुने गए. पार्टी सूत्रों ने बताया कि वाईएसआर कांग्रेस के दफ्तर में हुई नव-निर्वाचित विधायकों की बैठक करीब 45 मिनट चली. उसी में यह फैसला लिया गया. विधायक दल का नेता चुनने के लिए विधायकों को धन्यवाद देते हुए रेड्डी ने कहा, ‘‘2019 में लोगों ने हम पर विश्वास करके वोट दिया है, लेकिन 2024 में उन्हें हमारे काम के आधार पर और भी प्रचंड बहुमत देना चाहिए.’’ वाईएसआर कांग्रेस को 175 सदस्यीय आंध्र प्रदेश विधानसभा में 151 सीटें मिली हैं.
कांग्रेस कार्यसमिति (CWC) की बैठक में कांग्रेस के सभी नेताओं का कहना था कि आपने हिम्मत के साथ मोदी से लड़ाई लड़ी और सिर्फ आप (राहुल गांधी) ही ऐसे नेता थे पूरे विपक्ष में जिसने पांच सालों में मोदी से टक्कर ली.
कांग्रेस सूत्र ने राहुल गांधी के इस्तीफे को खबर को खारिज किया है. सूत्र ने कहा- राहुल गांधी के इस्तीफे की खबर आधारहीन है. CWC की बैठक में राहुल ने अब तक बोला नहीं है. फिलहाल सारे नेता अपनी बात रख रहे हैं. राहुल गांधी सबसे अंत में बोलेंगे.
कांग्रेस कार्यसमिति की बैठक पिछले 45 मिनट से जारी है. इस बैठक में मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री कमलनाथ नहीं पहुंचे हैं. कमलनाथ दो दिन से भोपाल में घर पर ही हैं, कल उन्होंने दिग्विजय सिंह से मुलाकात की थी. उन्होंने हार की समीक्षा के लिए विधायकों की बैठक बुलाई है. मध्य प्रदेश की 29 सीटों में से कांग्रेस को मात्र एक सीट पर जीत मिली है.
डीएमके अध्यक्ष एमके स्टालिन और लोकसभा चुनाव में चुने गए सांसद ने चेन्नई में एम करुणानिधि को श्रद्धांजलि दी. सभी नेता डीएमके महासचिव के अनबाजगन से भी मिले.
कांग्रेस कार्य समिति (सीडब्ल्यूसी) की बैठक से पहले कांग्रेस महासचिव अविनाश पांडे ने कहा कि राहुल गांधी ही पार्टी को सही नेतृत्व दे सकते हैं. उनका यह बयान उस वक्त आया है जब इस तरह की अटकलें लगाई जा रही हैं कि गांधी सीडब्ल्यूसी की बैठक में अध्यक्ष पद से इस्तीफे की पेशकश कर सकते हैं. इन अटकलों के बारे में पूछे जाने पर पांडे ने कहा, ''कांग्रेस के नेतृत्व को अगर कोई सही दिशा दे सकता है तो वो राहुल गांधी हैं. उनके नेतृत्व में ही पार्टी के सभी लोग आगे संघर्ष करने के लिए तैयार हैं.''
कांग्रेस कार्यसमिति की बैठक में शामिल होने के लिए कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी बहन प्रियंका गांधी के साथ पहुंचे हैं. उनके साथ पार्टी महासचिव केसी वेणुगोपाल भी थे.
कांग्रेस कार्यसमिति की बैठक में शामिल होने के लिए कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी बहन प्रियंका गांधी के साथ पहुंचे हैं. उनके साथ पार्टी महासचिव केसी वेणुगोपाल भी थे.
कांग्रेस कार्यसमिति (CWC) की बैठक में शामिल होने के लिए सोनिया गांधी के अलावा पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह, पी चिदंबरम, सिद्धारमैया, गुलाम नबी आजाद, मल्लिकार्जुन खड़गे, कैप्टन अमरिंदर सिंह, आरपीएन सिंह, मोतीलाल वोरा समेत कई वरिष्ठ नेता पहुंचे हैं.
थोड़ी देर में कांग्रेस कार्यसमिति की बैठक शुरू होगी. बैठक में शामिल होने के लिए यूपीए अध्यक्ष सोनिया गांधी पहुंच चुकी हैं. लोकसभा चुनाव परिणाम के बाद पहली बार कांग्रेस कार्यसमिति (CWC) की बैठक हो रही है. सूत्रों के मुताबिक, राहुल गांधी इस बैठक में इस्तीफे की पेशकश कर सकते हैं.
प्रधानमंत्री नरेंद्र ने ट्वीट कर कहा- मैं मां का आशीर्वाद लेने कल शाम को गुजरात जाऊंगा. उसके बाद मैं काशी जाऊंगा. परसों काशी जाकर भरोसा जताने के लिए लोगों को शुक्रिया करूंगा.
तृणमूल कांग्रेस के निलंबित विधायक शुभ्रांशु रॉय ने कहा कि वह कुछ दिनों में बीजेपी में शामिल होंगे. उन्होंने कहा कि वह ‘‘नई पारी’’ शुरू करेंगे जिसमें वे ‘‘खुलकर सांस’’ ले सकेंगे. इससे पहले तृणमूल कांग्रेस ने शुक्रवार को रॉय को पार्टी विरोधी टिप्पणियां करने पर छह साल के लिए निलंबित कर दिया था.
कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी के इस्तीफा देने की अटकलों के बीच संजय निरुपम ने कहा कि राहुल गांधी के नेतृत्व में हम बहादुरी से चुनाव लड़े. निसंदेह उन्होंने बहुत मेहनत की. हमारी बदकिस्मती थी कि हम हार गए. उन्हें इस्तीफा क्यों देना चाहिए? इस्तीफा नहीं देना चाहिए. उन्हें पार्टी का नेतृत्व करते रहना चाहिए. हम उनके नेतृत्व में लड़ेंगे और जल्द ही वापस आएंगे.
उत्तर प्रदेश के गाजीपुर सीट से हार के बाद बीजेपी नेता मनोज सिन्हा ने ट्वीट कर कहा, ''लोकसभा चुनाव में गाजीपुर की सम्मानित जनता, पार्टी के पदाधिकारी एवं निष्ठावान कार्यकर्ता साथियों ने जो सहयोग,समर्थन व स्नेह दिया, उसके लिए सभी के प्रति हार्दिक आभार. मैं आगे भी भारतीय जनता पार्टी के एक कार्यकर्ता के रूप में गाजीपुर सहित देश की सेवा के लिए सदैव तत्पर रहूंगा.''
लोकसभा चुनावों में विजयी हुए उम्मीदवारों की सूची को अंतिम रूप देने के लिए आज चुनाव आयोग बैठक कर सकता है. विजयी उम्मीदवारों की सूची को अंतिम रूप देने के बाद आयोग इसे राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद को सौंपेगा. सूत्रों ने यह जानकारी दी. आयोग के सूत्रों ने बताया कि एक बार सूची को अंतिम रूप दे दिए जाने के बाद मुख्य चुनाव आयुक्त और दोनों चुनाव आयुक्त राष्ट्रपति से मिलने का समय लेंगे.
Background
नई सरकार के गठन की प्रक्रिया जारी है. इस बीच आज बीजेपी नीत एनडीए के नवनिर्वाचित सांसदों की बैठक होगी. जिसमें वे औपचारिक रूप से प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को अपना नेता चुनेंगे. यह बैठक संसद के सेंट्रल हॉल में शाम 5 बजे होगी. एनडीए का नेता चुने जाने के बाद मोदी सांसदों को भी संबोधित कर सकते हैं. नरेंद्र मोदी को पहले ही एनडीए का नेता घोषित किया जा चुका है, ऐसे में इस बैठक को एक तरह से औपचारिकता माना जा रहा है. गौरतलब है कि लोकसभा चुनाव में बीजेपी 303 सीटें जीत चुकी है और एनडीए गठगबंधन को 350 सीटें हासिल हुई है.
आज कांग्रेस वर्किंग कमेटी (सीडब्ल्यूसी) की भी बैठक होगी. इस बैठक में राहुल गांधी इस्तीफे की पेशकश कर सकते हैं. यह जानकारी उस वक्त आई है कि जब पार्टी के कई स्थानीय नेताओं ने इस्तीफा दे दिया है. उत्तर प्रदेश कांग्रेस प्रमुख राज बब्बर ने पार्टी के निराशाजनक प्रदर्शन को देखते हुए पार्टी अध्यक्ष राहुल गांधी को अपना इस्तीफा भेज दिया है. ओडिशा में लोकसभा चुनाव और विधानसभा चुनाव में हार के मद्देनजर प्रदेश कांग्रेस समिति अध्यक्ष निरंजन पटनायक ने भी शुक्रवार को अपने पद से इस्तीफे की घोषणा की.
लोकसभा चुनावों में राज्य में बीजेपी के चौंकाने वाले प्रदर्शन के बाद टीएमसी सुप्रीमो और पश्चिम बंगाल की सीएम ममता बनर्जी ने आज अपने आवास पर पार्टी नेताओं की आपात बैठक बुलाई है. टीएमसी के एक वरिष्ठ नेता ने शुक्रवार को कहा कि हमारी पार्टी सुप्रीमो चुनाव जीतने वालों के साथ ही चुनाव में हार का सामना करने वाले उम्मीदवारों से भी मुलाकात करेंगी.
आंध्र प्रदेश विधानसभा चुनाव के परिणाम में वाईएसआर कांग्रेस को बहुमत मिलने के बाद पार्टी के विधायक आज बैठक करेंगे और अपने प्रमुख जगन मोहन रेड्डी को औपचारिक तौर पर नेता चुनेंगे. रेड्डी 30 मई को विजयवाड़ा में शपथ लेंगे. रेड्डी ने वादा किया है कि वह ऐसा शासन चलाएंगे जो देश के लिए मिसाल बनेगा. इस चुनाव में वाईएसआर कांग्रेस को 175 में से 151 सीटों पर जीत मिली है. बैठक सुबह 10 बजे पार्टी के सेंट्रल ऑफिस में शुरु होगी.