पीएम मोदी Exclusive: बेरोजगारी, नोटबंदी, राम मंदिर, कांग्रेस घोषणापत्र पर दिया जवाब, पूढ़ें पूरा इंटरव्यू

Narendra Modi Interview Live: राहुल गांधी के वायनाड सीट से चुनाव लड़ने को लेकर प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि दो सीट पर कोई सवाल कर ही नहीं रहा है, ना बीजेपी ने किया है. अमेठी से उनको भागना क्यों पड़ा? उसकी चर्चा है और वो चर्चा राजनीतिक दृष्टि से भारतीय जनता पार्टी का पूरा हक बनता है. पूरा इंटरव्यू पढ़ें-

ABP News Bureau Last Updated: 05 Apr 2019 11:14 AM
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने एबीपी न्यूज़ पर दिये गए इंटरव्यू को ट्वीट किया. कहा- राजनीति, सुरक्षा, अर्थव्यवस्था और चुनाव हर मुद्दे पर विस्तार से बात की.



प्रधानमंत्री मोदी ने नमो टीवी को लेकर कहा कि चला रहे हैं कुछ लोग. मैं देख नहीं पाया हूं अभी. मुझे समय नहीं मिलता है इतना. आपको बता दें कि नमो टीवी को लेकर कांग्रेस और आम आदमी पार्टी ने आपत्ति जताई है और यह मामला चुनाव आयोग के पास है.
प्रधानमंत्री मोदी ने मतदाताओं से अपील की. उन्होंने कहा कि मैं ABP के दर्शकों से भी यही प्रार्थना करूंगा कि आप वोट जरूर करें. लोकतंत्र एक बहुत बड़ा उत्सव होता है. किसको वोट देंगे वो आपकी मर्जी लेकिन वोट जरूर दें. गर्मी बहुत हैं वोट देने जाएं तो पानी की एक बोतल साथ लेकर जाएं ताकि आपको कोई दिक्कत ना हो. इस बार रमजान भी है, क्रिकेट के मैच भी चल रहे हैं, कई त्योहार भी हैं, इसके बावजूद शासन ने सारी चीजों को संभालने की जिम्मेवारी लेने की कोशिश की है .मुझे विश्वास है कि उमंग और उत्साह के साथ ये लोकतंत्र का पर्व पूर्ण होगा. नई सरकार बनेगी, फिर से एक बार मैं आपकी आशा और आकांक्षा को पूरा करने के लिए जी जान से जुटा रहूंगा. कभी कभी लोगों को लगता है कि एक टर्म के बाद दूसरे टर्म के लिए क्यों मेहनत करे. दो टर्म हों या दस टर्म हों मैं जीवन के आखिरी पल तक आपके लिए हूं, आपके लिए काम करता रहूंगा. मैं यह विश्वास देता हूं.
नीरव मोदी, मेहुल चोकसी, विजय माल्या को लेकर प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि पहली बात ये है कि जो हमने कदम उठाए हैं उसी का कारण है कि भागने वालों को वहां की जेलों में भी जाना पड़ रहा है. इसकी का कारण है कि उनकी सारी संपत्ति जब्त हो रही हैं और देश पूरी तरह देख रहा है कि हम एक के बाद जो भी हमारे पास कानूनी हथियार हैं, क्योंकि देश तो नियम से चलता है, उसका पूरा इस्तेमाल हम कर रहे हैं, लेकिन इनको भागना क्यों पड़ा. वो तो मौज कर रहे थे. दस साल में ही उन्होंने ये रूपये मारे हैं. ये हमारे आने के बाद नहीं मारे हैं. ये सारे रूपये उस समय मारे हैं लेकिन उनको पता ही नहीं था कि कोई ऐसी भी सरकार आएगी कि जो रूपये निकलवाएगी तो वो भाग गए, भागना पड़ा है. पच्चीस साल के बाद भी कोई सरकार ऐसी आ गई तो ये हंसते हुए वापिस आ जाएंगे. हम लाएंगे तो सीधा जेल के अंदर डालेंगे ये पक्का है. दूसरा भागने को तो कहते हैं वॉल्टर एंडरसन, भोपाल वाला, गैस कांड. सरकारी जहाज में लाए और भगाया. इतने लोगों की मौत हो गई थी. आप देखिए थिएटर में आग लगी तो लोग भुगत रहे हैं. उसको सरकारी विमान में लाकर हिंदुस्तान से बाहर भेजा गया. वो भगाना कहते हैं जो कांग्रेस के लोगों ने किया.
क्या अमित शाह आने वाली सरकार में नंबर दो की पोजिशन में होंगे? इस सवाल पर प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि मैं समझता हूं कि ये आप इस प्रकार के खेल खेल रहे हैं, आप मेरी पार्टी में आग लगाना चाहते हैं. अगर अमित शाह अगर सरकार में आना चाहते तो वो राज्यसभा के सदस्य तो थे ही. एक डेढ़ साल से, तब भी मंत्री बन सकते हैं. तो ये बेकार की बातें हैं, तो इस तरह का विवाद पैदा करके आपको टीआरपी मिलेगा या नहीं मैं नहीं जानता हूं.
नौकरी के आंकड़ों पर प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि मुद्रा योजना के अंदर 17 करोड़ लोगों को बिना गारंटी लोन मिला, उसमें से चार करोड़ 25 लाख लोग ऐसे हैं जिनको पहली बार मिला है. इसका मतलब कि उस पैसों से उसने कारोबार शुरू किया है. उसने कारोबार शुरू किया है तो किसी एक दो लोगों को और उसने काम दिया है. आप इसको रोजगार मानेंगे कि नहीं मानेंगे. अभी CII ने एक रिपोर्ट दी है. MSME के अंदर करोड़ों की तादाद में रोजगार का है मोटा मोटा शायद 6 करोड़ लोगों का है कि MSME में मिला है. जो फॉर्मल जॉब होते हैं वो 10 पर्सेंट ही हैं. 85 पर्सेंट करीब करीब इन-फॉर्मल सेक्टर है. फॉर्मल सेक्टर में 10-15 पर्सेंट है. उसमें भी आप देखिए हमारी पेंशन स्कीम होती है कि जो सरकार की पेंशन स्कीम में जुड़ता है तो वो अपना पैसा जमा करता है. 55 लाख लोगों ने इसमें जमा करे हैं. बिना रोजगार कैसे हुआ होगा. अब मुझे बताइए पहले से डबल रोड बन रहे हैं. बिना रोजगार ही ये बन जाता होगा क्या. पहले से डबल रेल बन रही है. बिना रोजगार बन जाती होगी क्या. पहले से ज्यादा एयरपोर्ट काम कर रहे हैं. बिना रोजगार ही करते होंगे क्या. मैं ये समझ नहीं पाता हूं हमारे देश में व्हीकल जितने खरीदे गए, उस व्हीकल में कोई जॉब पीरियड होता होगा कि नहीं होता होगा.. व्हीकल रिपेयरिंग करने वाली दुनिया में जॉब क्रिएट होता होगा कि नहीं होता होगा. आप किसी चीज को मानने को ही तैयार नहीं हो और आप देखिए अटल बिहारी वाजपेयी की जब सरकार थी तब भी ऐसे ही आरोप लगाए थे.. ये कांग्रेस की मोडस ऑपरेंडी वैसी ही है. उस समय भी उन्होंने जॉर्ज फर्नांडिस पर रक्षा क्षेत्र में भ्रष्टाचार के आरोप लगाए.. सारा झूठा निकला. उस समय उन्होंने रोजगार नहीं ऐसे झूठे आरोप लगाए और जब एनडीए सरकार... यूपीए सरकार बनी तो बाहर आया कि अटल जी के समय 6 करोड़ जॉब मिले थे लोगों को.. और इनके समय में सिर्फ सवा करोड़ मिले थे... तो ये झूठ बनाने वाला जो इनका इको सिस्टम है जिसमें आप लोग फंस जाते हैं. वो इन चीजों को चलाते रहते हैं.
नोटबंदी पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि मैंने समझा दिया है, बार बार समझाया है. आगे भी जरूरत पड़ी तो समझाऊंगा. इस देश में फॉर्मल इकॉनोमी को बढ़ावा मिला, टेक्सपेयर की संख्या दोगुनी हो गई.
बीजेपी विश्वास को बढ़ाने के लिए अल्पसंख्यक लोगों को उम्मीदवार बनाती, टिकट देती? पीएम मोदी ने इस सवाल पर कहा कि हम उम्मीदवार बनाते हैं. हमने तो अब्दुल कलाम साहब को राष्ट्रपति बनाया था. हम तो करते ही हैं. हमें तो कोई दिक्कत है ही नहीं.
पीएम मोदी से जब पूछा गया कि लोग कहते हैं कि मुसलमानों को पाकिस्तान चले जाना चाहिए? इस सवाल पर पीएम मोदी ने कहा- पहली बात है कि मैं कभी भी इस प्रकार की भाषा को स्वीकार नहीं करता. इस तरह के लोगों पर मेरी पार्टी पक्की कार्रवाई करती है.
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का हिंदुस्तान के मुसलमानों से रिश्ता क्या है? इस सवाल पर पीएम मोदी ने कहा, ''मैं एक अनुभव बताता हूं. मनमोहन सिंह की सरकार ने एक सच्चर कमेटी बनाई थी और वो सच्चर कमेटी गुजरात आई थी. मैं मुख्यमंत्री था तो सच्चर कमेटी के सारे मेंबर्स बैठे थे. मेरी सरकार के सारे अफसर बैठे थे और वो अपना रिपोर्ट तैयार कर रहे थे. उन्होंने मुझसे प्रश्न पूछा कि मोदी जी आपकी सरकार ने मुसलमानों के लिए क्या किया. मैंने उनको जवाब दिया था, मेरी सरकार ने मुसलमानों के लिए कुछ नहीं किया है और कुछ भी नहीं करेगी और फिर मैंने कहा लेकिन आगे सुन लीजिए. मेरी सरकार ने हिंदुओं के लिए भी कुछ नहीं किया है और हिंदुओं के लिए भी कुछ नहीं करेगी. मेरी सरकार गुजरात के सभी नागरिकों के लिए काम करती है और मेरी सरकार सभी नागरिकों के लिए काम करेगी. मेरा मंत्र है सबका साथ, सबका विकास. जब मैं कहता हूं कि मैं 2022 तक हिंदुस्तान का एक भी परिवार ऐसा नहीं होगा जिसके पास अपना पक्का घर नहीं होगा. अब मुझे बताइए क्या मुझे ये कहना चाहिए कि मैं मुसलमानों का पक्का घर बनाऊंगा. फिर यादव मिले तो तुम्हारा पक्का घर बनाऊंगा. दलित मिले तो कहूं. जी नहीं. मैं कहता हूं मैं हिंदुस्तान के सभी लोगों के लिए. जब मैं कहता हूं मैं बिजली दूंगा. हर परिवार को, हर परिवार मतलब 100%. मैं कहता हूं कि 18 हजार गांव जहां बिजली नहीं पहुंची है, मैं पहुंचाउंगा, मैंने पहुंचा दिया. फिर मैं नहीं पूछता वहां कौनसी जनसंख्या है. देश के शासकों को ये अलगाववादी विचारों से मुक्त होना चाहिए. देश को एक इकाई के रूप में यूनिटी के रूप में देखना चाहिए और आगे बढ़ना चाहिए. इसलिए मेरी सारी योजनाएं सबका साथ सबका विकास इस मंत्र को लेकर चल रही हैं.
समाजवादी पार्टी-बीएसपी गठबंधन और उसकी चुनौतियों पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि पहली बात है कि लोकतंत्र में चुनौती होनी चाहिए. हर राजनीतिक दल को कसना चाहिए. लोकतंत्र बहुत ही वाइबरेंट होना चाहिए और मैं चाहता हूं कि चुनौतियां और बढ़ें ताकि हम भी निखरकर बाहर आएं लेकिन मीडिया के अंदर कौन कितनी जगह ले जा रहा है, उसको कोई चुनौती मानता है तो उससे बड़ी कोई गलती नहीं है. टीवी के पर्दे पर कौन छाया रहता है, अखबार में किसकी पहले पन्ने पर खबर छपती है उसको चुनौती मानने की गलती मैं नहीं करता हूं. जब जनता आपके खिलाफ हो जाए तब चुनौती होती है. जहां तक जनता का सवाल है, मैं कहीं एंटी इंकमबेंसी इस चुनाव में नहीं देख रहा हूं. मैं पहली बार देख रहा हूं कि प्रो इंकमबेंसी वेव है, लहर है. मैं भी तो जनता में जाकर आता हूं. मैं हिंदुस्तान के करीब 70 प्रतिशत राज्यों में पिछले सात दिनों में होकर आया हूं. मैं कल सुबह अरुणाचल से शुरू किया था पासीघाट से और रात को महाराष्ट्र के गोदिया में पूरा करके लेट नाइट दिल्ली आया था. मैं जनता के बीच में रहने वाला इंसान हूं. मैं देख रहा हूं कि प्रो- गवर्मेंट लहर, ये अपने आप में हिंदुस्तान के लोकतंत्र में एक खुशनुमा पल है.
भाषणों में राहुल गांधी का नाम नहीं लेने पर प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि मैं किसी का नाम दूं या ना दूं. इसमें आपको पीड़ा क्यों हो रही है? दूसरी बात है कि मैं बहुत सामान्य परिवार से आया हूं. चाय बेचने वाला परिवार, जिसका बैकग्राउंड, एक कामदार व्यक्ति. साहब ये बड़े बड़े नामदार हैं, हम उनका नाम लेने की हिम्मत ही नहीं कर सकते जी. हम तो छोटे लोग हैं जी. ये तो देश की जनता ने मुझे प्रधानमंत्री बना दिया, वर्ना हमारा तो लालन-पालन ऐसे ही सामान्य लोगों से हुआ है. हम वो हिम्मत नहीं कर सकते.
बीजेपी की 40 पार्टियों के साथ गठबंधन पर प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि मैंने जम्मू-कश्मीर में जो किया था उसको मैं गठबंधन नहीं कह सकता हूं. हमने साथ चलने का प्रयास किया. हम पास पास आए लेकिन साथ साथ नहीं थे. एक राजनीतिक मजबूरी ऐसी थी, एक ऐसा मेंडेट था कि हमको चलना पड़ा और लोकतंत्र में, पब्लिक में हमारा एक दायित्व भी होता है कि चलो भाई चार चीजों कोंप्रोमाइज करके आगे चलो. आज भारतीय जनता पार्टी के साथ जुड़े हुए जो लोग हैं उनके बीच में इस प्रकार का कोई कंट्राडिक्शन नहीं है. हम जहां है वहां एक दूसरे के पूरक होते हैं. अगर हम पंजाब में अकाली दल के साथ हैं तो हम एक दूसरे के पूरक होते हैं और वो सालों से हम काम कर रहे हैं. अच्छी स्थिति हो तब भी हम साथ चले हैं, बुरी स्थिति हो तब भी हम साथ चले हैं. यहां तो उत्तरप्रदेश में दो साल पहले दो लड़के काला जेकेट पहनकर के टीवी शूटिंग कर रहे थे और वही सामने सामने हो गए तब सवाल उठता है कि ये किस प्रकार का है. दूसरा आप मुझे बताइए इनके महामिलावट में. उमर अबदुल्ला कहते हैं कि देश में दो प्रधानमंत्री होने चाहिए. अब कांग्रेस पार्टी को जबाव देना पड़ेगा कि आपका साथी कह रहा है कि दो प्रधानमंत्री होने चाहिए तो आपका स्टैंड क्या है ? फिर उसके साथ क्यों चलते हो ? एनसी का एक कैंडिडेट, उम्मीदवार जो कांग्रेस समर्थन से चुनाव लड़ रहा है वो कहता है अगर कोई पाकिस्तान को गाली देगा तो मैं हिंदुस्तान को सौ गाली दूंगा. उसके साथ आप चुनाव में भागीदार हैं, ये महामिलावट है. हो सकता है 100 प्रसेंट नहीं है लेकिन 80 प्रेसेंट है, 90 प्रेसेंट है, 95 प्रसेंट है.
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने राम मंदिर को लेकर कहा कि हम संविधान को सुप्रीम मानते हैं और जब मामला न्यायिक व्यवस्था में हो तब सरकार के नाते न्याय प्रक्रिया के अंदर हमने हमारा वो पक्ष रखा है जो हम जनता के सामने रखते हैं. हम इंतजार कर रहे हैं कि जितना जल्द हो सके न्यायिक प्रक्रिया पूरी हो. उन्होंने कहा कि सभी चाहते हैं कि राम मंदिर बने.
प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि दो सीट पर कोई सवाल कर ही नहीं रहा है, ना बीजेपी ने किया है. अमेठी से उनको भागना क्यों पड़ा, उसकी चर्चा है और वो चर्चा राजनीतिक दृष्टि से भारतीय जनता पार्टी का पूरा हक बनता है.
राहुल गांधी के वायनाड सीट से चुनाव लड़ने को लेकर प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि जिस कांग्रेस ने देश के टुकड़े किए, वो कांग्रेस जिसने आंध्र और तेलंगाना में ऐसा झगड़ा करवाया राजनीति के लिए. देश को तोड़ने वाले लोग कौन हैं ये देश के लोग भली-भांती जानते हैं. चुनाव वो कहां से लड़े, कहां से ना लड़े, वो मेरा विषय नहीं है, वो उनकी पार्टी का विषय है और भारत के संविधान ने मौका दिया है लेकिन जिस तरीके से जाना पड़ा है. ये चर्चा हमने शुरू नहीं की है, तुरंत मीडिया ने उठाया था कि अमेठी अब उनके लिए मुश्किल है. तो इस अर्थ में वो गए हैं.
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि मोदी चुनाव जीते या हारे, ये निर्णय जनता का है. मोदी तो जब पहली बार बनारस में जब चुनाव लड़ा तो नामांकन भरने गया था और बाद में जिस दिन कैंपेन पूरा हुआ. उस दिन मैंने पब्लिक मीटिंग के लिए इजाजत मांगी थी लेकिन वहां की सरकार ऐसी थी, वहां का इलेक्शन कमीशन ऐसा था कि मुझे पब्लिक मीटिंग करने पर प्रतिबंध लगा दिया था. आप हैरान होंगे ये जानकर और देश की मीडिया ने ये चर्चा नहीं की. बनारस का लोकसभा का चुनाव मेरा ऐसा था कि जिसमें मुझे एक भी पब्लिक मीटिंग नहीं करने दी. इतना ही नहीं जिस दिन मैं नामांकन भरने के लिए गया था तो उस जुलूस को सभा में बदलना था, उस पर भी आखिरी समय में मना कर दिया था. तो जुलूस हुआ और फिर मैं उतरकर सीधा दफ्तर में चला गया और फॉर्म भरकर वापिस आ गया. पूरे कैंपेन में मुझे एक पब्लिक मीटिंग नहीं करने दी. एक परमिशन नहीं दी लेकिन जनता ने जिता दिया.
राहुल गांधी और प्रियंका गांधी को लेकर प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि ये करीब सवा सौ साल से भी ज्यादा उम्र वाली पार्टी है. इस पार्टी का ऐसा क्या दरिद्र है कि देश में से नेता उभरते नहीं है पार्टी में. ये एक चिंता का विषय है. बाकि उनमें कौन अच्छा या कौन बुरा, मैं व्यक्तिगत रूप से किसी से परिचित नहीं हूं. ना कभी बैठकर कभी किसी विषय पर हमें चर्चा करने का सौभाग्य मिला है और इसलिए उनका ऐसा जजमेंट लेना मेरा हक नहीं बनता है और ये कांग्रेस पार्टी का अंदरुनी विषय है, उनको जो अच्छा लगे उसे नेता बनाए. प्रधानमंत्री मोदी से पूछा गया था कि दोनों गांधी भाई-बहनों में से बेहतर नेता कौन लगता है?
सोनिया गांधी, राहुल गांधी और रॉबर्ट वाड्रा के खिलाफ हो रही जांच पर प्रधानमंत्री मोदी ने कहा, मैं चाहूंगा कि इस प्रकार से सिंपेथी हासिल करने के लिए जो ड्रामेबाजी कर रहे हैं, वे सबूत बताएं कि मोदी ने ऐसा क्या किया है. आप मुझे बताइए कि जैसे लालू जेल में हैं. ये केस कांग्रेस के जमाने में शुरू हुआ था. अब मेरे कार्यकाल में सजा हुई. अब इसको आप मेरे षडयंत्र के साथ जोड़ देंगे. इन सबके आरोप हरियाणा के एक आईएएस अफसर ने 2009-10 में लगाए थे. पहले की सरकार के दरमियान उसे दबा दिया गया था. हमने कहा कि जो सत्य है वो बाहर आना चाहिए. अब मुझे बताइए कि ये काम मुझे करना चाहिए या नहीं करना चाहिए?
पीएम मोदी ने कहा कि पाकिस्तान की मुसीबत क्या है वो समझिए. अगर हमने सेना पर कुछ किया होता या नागरिकों पर कुछ किया होता तो पाकिस्तान दुनियाभर में चिल्लाकर भारत को बदनाम कर देता. तो हमारी रणनीति ये थी कि हम गैर सैनिक एक्टिविटी करेंगे और जनता का कोई नुकसान ना हो इसका ध्यान रखेंगे. ये पहला हमारा मूलभूत सिद्धांत था और हम टारगेट आंतकवाद को ही करेंगे.
बालाकोट में वायुसेना के एयरस्ट्राइक पर सबूत मांगे जाने को लेकर पीएम मोदी ने कहा कि पहली बात है कि सबसे बड़ा सबूत पाकिस्तान ने स्वयं ने ट्वीट करके दिया दुनिया को. हमने तो कोई दावा नहीं किया था. हम तो अपना काम करके चुप बैठे थे जी. कितने मरे, कितने नहीं मरे. मरे कि नहीं मरे. ये जिसको विवाद करना है करते रहें.
पाकिस्तान से बातचीत को लेकर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि बहुत सिंपल है. ये आतंकवाद एक्सपोर्ट करना बंद कर दें. बस सिंपल बात है ये. मुश्किल काम नहीं है. तय कर लें, ये आंतकवाद एक्सपोर्ट नहीं करना है आतंकवाद बंद हो जाए. बाकी देखिए चीन. चीन के साथ हमारे विवाद हैं. चीन के साथ हमारे जमीन के प्रश्न भी हैं. सीमा के प्रश्न हैं. बहुत कुछ है लेकिन आना जाना होता है. मिलना होता है. बैठकें होती हैं. निवेश होता है. राजनीतिक बातचीत होती है. मुद्दा है तो चर्चा भी होती है और मन बना लिया है कि हम हमारे मतभेदों को विवादों में बदलने नहीं देंगे. मतभेद हैं. विवाद नहीं होने देंगे. तो इस समझ के साथ चीन और हमारी गाड़ी चल रही है.
पाकिस्तान से भारत के संबंध को लेकर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि अभी तक मैंने दुनिया के कई नेताओं से पूछा है और जो मैंने सुना है और जो मैं अनुभव कर रहा हूं कि एक बहुत बड़ी मुश्किल है दुनिया के लोगों की कि पाकिस्तान में आखिर पता ही नहीं चलता है कि देश कौन चलाता है. चुनी हुई सरकार चलाती है. सेना चलाती है. ISI चलाती है या जो लोग पाकिस्तान से भागकर विदेशों में बैठे हैं वो चला रहे हैं और इसलिए हर किसी के लिए ये बड़ा चिंता का विषय है कि किससे बात करें.
कश्मीर में अलगाववाद, आतंकवाद पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि मैं बहुत सालों तक जब आतंकवाद चरम सीमा पर था पंजाब में, जम्मू कश्मीर में. उस समय यहां पार्टी के संगठन का काम करता था. मैं यहां के हर ब्ल़ॉक में बस में बैठकर के दौरा किया हुआ इंसान हूं. मैं उसकी बारीकियों को जानता हूं और जब हम जम्मू कश्मीर की बात करते हैं तो हमें लद्दाख, श्रीनगर वैली और जम्मू. सबकी चर्चा करनी चाहिए. आप देखिए जो घटनाएं पहले होती थी. उसमें बहुत बड़ी मात्रा में कमी आई है. जो विकास रुका हुआ था वो बहुत तेज गति से आगे बढ़ रहा है.
प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि हमने चलाने की कोशिश की और कई अच्छे काम भी किए, लेकिन मुफ्ती साहब चले गए, महबूबा जी के साथ काम करना था, महबूबा जी का एक अलग काम करने का तरीका था. अब मुद्दा एक बड़ा महत्वपूर्ण आया जिसके कारण ब्रेक हुआ, हमारा स्पष्ट मत था कि जम्मू कश्मीर में स्थानीय निकायों के चुनाव होने चाहिए, पंचायत के, नगरपालिका के और वहां की जनता को अपना कारोबार चलाने का हक देना चाहिए.
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने पीडीपी-बीजेपी गठबंधन पर कहा कि जिस दिन हमने गठबंधन किया, एक तो तब मुफ्ती साहब थे, सीनियर लीडर थे, मैच्योर थे, चीजें समझ पाते थे. दूसरा, हमने उस समय कहा कि हम दो राजनीतिक पार्टियां हैं जो दो ध्रुव के हैं, एक प्रकार से मिलावट वाला ही कार्यक्रम था हमारा. लेकिन कोई सिचुएशन ही नहीं थी कि कोई सरकार बन पाए, अगर नेशनल कॉन्फ्रेंस उस समय मुफ्ती साहब को सहयोग देकर खड़ी हो जाती तो हम तो विपक्ष में रहने के लिए तैयार थे, हमने इंतजार किया था, तीन महीने तक सरकार बनाई ही नहीं थी.
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि जो लोग राष्ट्रद्रोह की प्रवृत्ति करते हैं उन पर राजद्रोह का मुकदमा चलना चाहिए.
पीएम मोदी ने कहा, ''जो उन्होंने (कांग्रेस) घोषणापत्र में कहा है, आप मुझे बताइये भारत जैसा देश, विविधता भरा देश, जिसमें तमिलनाडु है, न्यूक्लियर पावरप्लांट को लेकर वहां पर आंदोलन चला. यही कांग्रेस पार्टी ने 6000 से ज्यादा लोगों को देशद्रोह के कानून में अंदर किया, क्यों? और आज वो दुनिया को उपदेश दे रहे हें क्योंकि किसी ने लिख के दे दिया और आपने वहां आकर बोल दिया. आप चाहते हैं कि देश के टुकड़े होंगे जैसी बातों को बल मिलता रहे? आप ये चाहेंगे कि भारत के तिरंगे झंडे को कोई रौंद दे, भारत के राष्ट्रगान का अपमान करता रहे? बाबा साहेब अंबेडकर की मूर्ति कोई जाकर तोड़ दे? क्या इन चीजों को रोकने के लिए क्या करोगे?''
पीएम मोदी ने कहा, ''देखिए हमने करीब 1400 कानून खत्म किए हैं. कानूनों का ऐसा जंगल था, जिसके कारण अगर कोर्ट में फैसला देना है तो भी मुश्किल होता था, एक पक्ष 6 कानून ये लेकर आ जाता था, और दूसरा पक्ष 10 कानून ले आता था. सामान्य मानव की जिंदगी सरल करने के लिए जो बिल्कुल निकम्मे कानून हैं, वो पार्लियामेंट के अंदर हमने चर्चा करके खत्म किए.''
प्रधानमंत्री मोदी ने कश्मीर में AFSPA खत्म किये जाने के सवाल पर कहा, ''सवाल ये है कि हम ऐसा हिन्दुस्तान चाहते हैं जिसमें AFSPA हो ही ना, लेकिन वो स्थिति तो लाएं पहले. उस परिस्थिति पर. आज पाकिस्तान जिस प्रकार से घटनाएं कर रहा है, जो सेपरेटिस्ट लोग भाषा बोलते हैं, सेपरेटिस्ट लोग हमारी सेना के लिए जो भाषा बोलते हैं, जो पाकिस्तान स्पॉन्सर्ड भाषा है, उस भाषा की अगर इस घोषणापत्र में बू आती है, तो देश के सुरक्षाबलों के जवानों को आप कितना डिमोरलाइज कर रहे हैं . देश का कितना नुकसान कर रहे हो आप.''
प्रधानमंत्री मोदी ने कहा, ''आप AFSPA का कानून हटाना चाहते हैं, लाए आप, आपको कभी नियमित रूप से समीक्षा करनी चाहिए थी, स्थिति देखनी चाहिए, लेकिन आंखें बंद रखीं. हां, दुनिया में कोई ये नहीं चाहेगा कि देश जेलखाना बनाकर चले, लेकिन आपने स्थितियां सुधारते जाना चाहिए, जैसा हमने अरुणाचल प्रदेश में किया, जहां स्थिति सुधरी, उसे बाहर निकाला, लेकिन कानून खत्म कर देना, कानून को बदल देना, ये जो आप टुकड़े-टुकड़े गैंग की भाषा बोल रहे हो, तो ये देश कैसे चलेगा?''
प्रधानमंत्री मोदी ने घोषणापत्र पर कहा, ''ढकोसला पत्र कहने के पीछे मेरा दर्द हुआ कि कांग्रेस जैसी पार्टी राष्ट्रीय सुरक्षा जैसे मुद्दों पर घोषणापत्र में ऐसी बात कर रही है. देश की सेना को इतना जलील करें, बलात्कार के आरोप वाली बातें करें, ऐसा शोभा देता है क्या? इस देश को गर्व है और सवाल केवल मोदी सरकार का नहीं है, इतने सालों का आजादी के बाद का मैं तो कहता हूं, पीस कीपिंग फोर्स, संयुक्त राष्ट्र का, आज दुनिया में सबसे अधिक participation है.''
प्रधानमंत्री मोदी ने कहा, ''कांग्रेस ने शॉर्टकट ढूंढा है और उन्होंने अभी जो 5 राज्य देखो, पंजाब देखो, कर्नाटक देखिए या मध्यप्रदेश, छत्तीसगढ़, राजस्थान, उन्होंने लिखित में वादा किया है कि वो नौजवानों को हर महीना पेंशन देंगे, भत्ता देंगे. किसी सरकार ने अभी तक दिया नहीं, उन्होंने 2004 में वादा किया था कि वो हर घर में बिजली पहुंचाएंगे 2014 में आने के बाद भी मैंने अभी तक ढाई करोड़ परिवारों तक पहुंचाया है फिर भी अभी मैं लक्ष्य से अभी थोड़ा बाकी हूं, शायद अभी मई-जून तक काफी कुछ कर दूंगा. उन्होंने किसानों को डायरेक्ट बेनिफिट ट्रांसफर करने का वादा किया था, 2004 में किया? 2009 में किया? नहीं किया.''
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कांग्रेस के घोषणापत्र पर कहा कि कांग्रेस पार्टी जिसने 60 साल से भी अधिक साल तक देश में राज किया, ऐसा दल जिसके पास अनुभवी राजनेता हैं, पुरानी सरकारें चलाई हुई हैं, सरकार की बारीकियों को जानते हैं, सरकार के संसाधनों को जानते हैं, सरकार की मर्यादाओं को जानते हैं और दुनिया कैसे आगे बढ़ रही है उसके तौर तरीके भी जानते हैं, ऐसे समय में कांग्रेस जैसी पार्टी के पास से एक मैच्योर घोषणापत्र की अपेक्षा होना बहुत स्वाभाविक है. कांग्रेस पार्टी के घोषणापत्र ने बहुत निराशा पैदा की है, अच्छा होता कि वो बीजेपी से भी शानदार चीजें लेकर आती, लोकतंत्र में अच्छा होता है लेकिन उसके बजाय उन्होंने शॉर्टकट ले लिया.
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि मैं ये पब्लिकली कहता हूं कि हमारे देश में आजादी के बाद सिर्फ दो प्रधानमंत्री ऐसे बने हैं, जो कांग्रेस गोत्र के नहीं हैं. बाकी जितने लोग बने किसी और दल से बने होंगे लेकिन उनका सबका गोत्र कांग्रेस रहा है. एक अटल बिहारी वाजपेयी और दूसरे नरेंद्र मोदी. ये दो लोग ऐसे हैं जो कांग्रेस गोत्र से नहीं आए हैं और इसलिए पहली बार देश को कांग्रेसी सोच वाली सरकार और बिन कांग्रेसी सोच वाली सरकार क्या होती है, विकल्प क्या होता है, ये पहली बार पता चला है.
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने एबीपी न्यूज़ से खास बातचीत में कहा कि पिछले एक हफ्ते से मैंने चुनाव अभियान में मतदाताओं से मिलना शुरू किया है. वैसे तो मैं गत 45 साल से भ्रमण करने वाला इंसान हूं. लेकिन विधिवत चुनाव घोषित होने के बाद पिछले सप्ताह से मेरा दौरा शुरू हुआ है. मैं लोगों के बीच जाकर सबसे पहले देश के मतदाताओं का धन्यवाद करता हूं, क्योंकि मैंने पिछली चुनाव में लोगों से कहा था कि आपने 60 साल का शासनकाल देखा है. मुझे 60 महीने दीजिए और मैं जाकर याद दिलाता हूं कि मैंने आपसे 60 महीने मांगे थे और अगर आपको मेरे 60 महीनों के काम से संतोष है तो उसका श्रेय मुझे नहीं आपको जाता है.
लोकसभा चुनाव के लिए जारी गहमागहमी के बीच प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने एबीपी न्यूज़ से खास बातचीत की है. पूरा इंटरव्यू LIVE देखें-
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का इंटरव्यू अब से थोड़ी देर बाद प्रसारित किया जाएगा. पीएम मोदी ने भगोड़े नीरव मोदी, मेहुल चोकसी, विजय माल्या को लेकर भी बयान दिया है.
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने एबीपी न्यूज़ से खास बातचीत की है. इंटरव्यू में उन्होंने कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी और उनकी बहन प्रियंका गांधी की राजनीति को लेकर भी बातचीत की. पूरा इंटरव्यू सुबह आठ बजे से एबीपी न्यूज़ पर देख सकते हैं.

Background

PM Modi On ABP: लोकसभा चुनाव के लिए पहले चरण की वोटिंग से छह दिनों पहले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने ABP News से खास बातचीत की है. इस दौरान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने चुनावी रणनीतियों से लेकर विपक्षी दलों के रुख को लेकर बातचीत की. उन्होंने गांधी-नेहरू परिवार, राम मंदिर, कांग्रेस के घोषणापत्र पर चर्चा की. सुबह 8 बजे से आने वाले इस एक्सक्लूसिव इंटरव्यू को आप एबीपी न्यूज़ के हर प्लेटफॉर्म पर पढ़ और देख सकते हैं.


 


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